रामलला की प्राण प्रतिष्ठा: प्रधानमंत्री मोदी का आयोध्या में शानदार समर्थन!
अद्वितीय रूप से सजीव होने वाली मूर्ति के नामकरण में प्रधानमंत्री का महत्वपूर्ण योगदान
Ramlala: अयोध्या, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के मुख्य यजमान के रूप में अद्भुत समर्थन दिया है। इस घड़ी में, जब अयोध्या में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा होने वाली है, यह घोषणा ने आम जनता में एक अद्वितीय उत्साह भरा है।
22 जनवरी को गर्भगृह में प्राण प्रतिष्ठा के समय, रामलला का नामकरण भी होगा, जिससे वह विशेष पहचान धारण करेगा। इस अद्वितीय समय में, श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य शास्त्र ज्ञों से मिलकर मूर्ति के उचित नाम का चयन करेगा।
पूज्य आचार्य ने बताया कि प्राण प्रतिष्ठा के बाद शास्त्रों के अनुसार देवता के कान में यह कहा जाता है, “हे प्रभु, आज से आप इस नाम से विख्यात रहेंगे।” यह समर्थन उन्होंने शास्त्र विधान और प्रतिष्ठा की किताबों में वर्णित होने वाले निरूपय सिद्धांतों के साथ किया।
आचार्यों ने रामनगरी में स्थान देवता के रूप में पूजित देवी-देवताओं को पहला निमंत्रण दिया और उनसे पूजा और आशीर्वाद मांगा। इस समर्थन के साथ, आचार्यों ने हनुमानगढ़ी, नागेश्वरनाथ, मां सरयू, कनकभवन और दर्शननगर में स्थापित मंदिरों को भी प्राण प्रतिष्ठा के लिए निमंत्रित किया।
आचार्यों की इस भव्य पूजा के साथ, उन्होंने राजा के रूप में विराजमान हनुमंतलला, भगवान शिव की पौराणिक पीठ नागेश्वरनाथ, मां सरयू, कनकभवन और दर्शननगर में स्थापित सूर्य देव को भी प्राण प्रतिष्ठा के लिए निमंत्रित किया है।
इस अत्यंत महत्वपूर्ण मौके पर, आचार्यों ने इन मंदिरों में पूजा कर मांगलिक कार्यों के लिए शुभ सिद्धि की प्रार्थना की और उनकी शुभकामनाएं दीं। उन्होंने निर्विघ्न रूप से अनुष्ठान संपन्न होने की प्रार्थना की और समृद्धि और कीर्ति की कामना की।
इस ऐतिहासिक पल में, अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा और नामकरण के रूप में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति ने राष्ट्रभक्ति और धार्मिक उत्साह को एक नए स्तर पर ले जाने का संकेत दिया है। इस अद्वितीय क्षण में, देशवासियों ने अपने प्रधानमंत्री के साथ मिलकर राम की प्राण प्रतिष्ठा में भाग लेने का गर्व महसूस किया है।
Ramlala
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